Movie prime

बासमती किसान भूल कर भी ना करें इन दवाओं का इस्तेमाल | जानिए क्या है रिस्क

बासमती किसान भूल कर भी ना करें इन दवाओं का इस्तेमाल | जानिए क्या है रिस्क
WhatsApp Group Join Now
WhatsApp Channel Join Now

किसान साथियो जैसा कि आप सबको पता है कि बासमती चावल विश्व भर में अपनी उच्च क्वालिटी, खुशबु, स्वाद और रिचनैस के लिए जाना जाता है। इसे मुख्य रूप से उच्च वर्ग के लोगों द्वारा खाया जाता है। यही वज़ह है कि यह यूरोपीय देशों और मिडल ईस्ट में भरपूर मात्रा में निर्यात किया जाता है। बासमती के निर्यात के लिए यह जरूरी है कि इसकी क्वालिटी को बरकरार रखा जाए। साथियो विडम्बना यह है कि आजकल बाजार में बहुत सारी ऐसी सस्ती जहरीली कीटनाशक दवाइयाँ प्रचलन में आ गई है जो बासमती चावल की क्वालिटी को खराब कर देती हैं। विदेशी ग्राहक बासमती की क्वालिटी को लेकर काफी चिंतित रहते हैं। यही वज़ह है कि कई बार खराब क्वालिटी होने के कारण भारतीय बासमती की शिपमेंट वापिस भी की गयी हैं। ऐसी परिस्थितियों बासमती के भाव पर भी बहुत बुरा प्रभाव पड़ता है। किसानों को खर-पतवार नाशक और कीटनाशकों के इस्तेमाल के मामले में सतर्क रहने की जरूरत है।

सरकारें भी बासमती की क्वालिटी को मेंटेन करने के लिए समय समय पर कीटनाशकों की जांच करके उन पर प्रतिबंध लगाती रहती है। इसी कड़ी में ख़बर आ रही है कि पंजाब सरकार ने एक अगस्त से 10 ऐसे कीटनाशकों को बनाने, स्टोर करने, डिस्ट्रीब्यूशन और बेचने पर पाबंदी लगा दी है, जिनका उपयोगी बासमती धान की बिजाई और उसके बाद फसल को तैयार करने में किया जाता था। इन कीटनाशकों में ऐसफेट, बुप्रोफेजिन, क्लोरपाइरीफोस, हेक्जाकोनोजोल आदि प्रमुख हैं।

इन कीटनाशी दवाइयों का इस्तेमाल करने के बाद तैयार हुए बासमती चावल में कीटनाशकों के विषैले तत्वों का असर पाए जाने के कारण यह पाबंदी लगायी गयी है। पंजाब सरकार ने 60 दिनों के लिए ये पाबंदी लगाई है। हाल ही में खाड़ी देशों से लेकर कई यूरोपियन देशों में पंजाब से भेजी गई बासमती में कीटनाशकों का असर पाया गया। गौरतलब है कि कई बार पंजाब से भेजे गए बासमती चावल के कन्साइनमेंट को कैंसिल कर वापस भेजा जा चुका है। ऐसा बार-बार होने पर कई देशों ने भारत से, खासकर पंजाब से मंगवाए जाने वाले बासमती पर रोक भी लगा रखी है। भारत सरकार ने भी इस संबंध में पंजाब सरकार को सूचित कर रखा है। पंजाब सरकार ने हालात को देखते हुए ही ये पाबंदी लगाई गई है।

सरसों बेचने से पहले ये रिपोर्ट जरूर पढ़ लें | सरसों की खबरों का साप्ताहिक बुलेटिन

ये दवायें की गई हैं प्रतिबंधित
इन कीटनाशकों पर पाबंदी

1. ऐसफेट

2. बुप्रोफेजिन

3. क्लोरपाइरीफोस

4. हेक्साकोनोजोल

5. प्रोपिकोनाजोल

6. थियामेथोक्सम

7. प्रोफेनोफोस

8. इमिडाक्लोप्रिड

9. कार्बेन्डाजिम

10. ट्राइसाइक्लाजोल

सरकार की तरफ से सुझाव दिया गया है कि बासमती धान में कीटों से सुरक्षा के लिए इन कीटनाशकों के विकल्प अपनाए जा सकते हैं, जिनमें विषैले तत्वों की मात्रा काफी कम होती है। ये कीटनाशक बाजार में उपलब्ध करा दिये गये हैं।

जांच में क्या मिला
पंजाब से भेजे गए बासमती चावल में अधिकतम रेजीड्यूल लेवल (एमआरएल) से काफी अधिक पाए जाने के बाद ये कार्रवाई तेजी से की गई है। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि पंजाब प्रति एकड़ कीटनाशकों का सर्वाधिक उपयोग करने वाला अग्रणी राज्य है। बासमती धान में जरूरत से ज्यादा कीटनाशकों का छिड़काव पाया गया है। पंजाब एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी, लुधियाना ने भी राज्य में बासमती में कीटों के हमलों को कंट्रोल करने के लिए कई अन्य कीटनाशकों के उपयोग की सिफारिश की है।

देखें आज के देश-विदेश की वायदा कारोबार की अपडेट 31 जुलाई 2023

भाव पर बुरा असर
साथियो जैसा कि मंडी भाव टुडे पर हम ने पहले भी कई बार बताया है कि अगर निर्यात किए गए बासमती का सैमपल क्वालिटी टेस्ट में फेल होता है तो शिपमेंट रिजेक्ट हो सकती है। बार बार सैमपल फैल होने की स्थिति में यूरोपीय देश भारत से चावल खरीदने पर बैन भी लगा सकते हैं। ऐसी स्थिति में बासमती के भाव बुरी तरह से गिर भी सकते हैं। पहले ऐसा कई बार हो भी चुका है। फ़िलहाल बासमती 1121 चावल का भाव अपने टॉप लेवल 10500 रुपये प्रति क्विंटल पर चल रहा है। जबकि 1718 स्टीम में 9800 के रेट मिल रहे हैं। अगर सब सही रहता है किसानों को बासमती धान में 5000 के आसपास के रेट मिल जाएंगे। इसलिए मंडी भाव टुडे का सभी बासमती के किसानो से निवेदन है कि जरुरत से ज्यादा कीटनाशक का इस्तेमाल ना करें और प्रतिबंधित कीटनाशकों के इस्तेमाल से दूर रहें।

👉 यहाँ देखें फसलों की तेजी मंदी रिपोर्ट

👉 यहाँ देखें आज के ताजा मंडी भाव

👉 बासमती के बाजार में क्या है हलचल यहाँ देखें

About the Author
मैं लवकेश कौशिक, भारतीय नौसेना से रिटायर्ड एक नौसैनिक, Mandi Market प्लेटफार्म का संस्थापक हूँ। मैं मूल रूप से हरियाणा के झज्जर जिले का निवासी हूँ। मंडी मार्केट(Mandibhavtoday.net) को मूल रूप से पाठकों  को ज्वलंत मुद्दों को ठीक से समझाने और मार्केट और इसके ट्रेंड की जानकारी देने के लिए बनाया गया है। पोर्टल पर दी गई जानकारी सार्वजनिक स्रोतों से प्राप्त की गई है।