इन लोगों को मिलेगा केवल 5% ब्याज पर 3 लाख तक का लोन | जाने क्या है लेने की प्रक्रिया
साथियों, भारत सरकार की ओर से कई योजनाएं शुरू की गई हैं, जो विभिन्न वर्गों के लोगों को फायदा पहुंचाती हैं। पीएम विश्वकर्मा योजना भी ऐसी ही एक योजना है, जो विशेष रूप से कारीगरों, शिल्पकारों और छोटे व्यापारियों के लिए बनाई गई है। इस योजना के तहत सरकार उन्हें सस्ती ब्याज दर पर लोन उपलब्ध कराती है, जिससे उनकी आर्थिक स्थिति बेहतर हो सकती है और वे अपने व्यवसाय को नया आयाम दे सकते हैं। इसमें 3 लाख रुपये तक का लोन मिलता है, जो विशेष रूप से उन कारीगरों और शिल्पकारों के लिए फायदेमंद है जो अपने काम को बढ़ाना चाहते हैं लेकिन उनके पास पूंजी की कमी है। प्रधानमंत्री मोदी की इस योजना का उद्देश्य विशेष रूप से उन लोगों तक पहुंचना है, जो अपनी मेहनत और कौशल से समाज में महत्वपूर्ण योगदान देते हैं, लेकिन उन्हें आत्मनिर्भर बनने के लिए सही संसाधन नहीं मिल पाते। इस योजना से उन्हें न केवल लोन मिलेगा, बल्कि उनके कौशल को भी बेहतर करने के लिए ट्रेनिंग, उपकरण और मार्केटिंग जैसी सुविधाएं भी मिलेंगी। इस योजना के बारे में पूरी जानकारी और यह कैसे आप तक पहुंचेगी इन सब बातों को विस्तार से जानने के लिए चलिए पढ़ते हैं यह रिपोर्ट।
पीएम विश्वकर्मा योजना क्या है
दोस्तों, पीएम विश्वकर्मा योजना भारत सरकार द्वारा कारीगरों और शिल्पकारों को बेहतर अवसर देने के लिए शुरू की गई एक पहल है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य छोटे-छोटे व्यवसायों को बढ़ावा देना और कारीगरों को उनकी मेहनत का उचित मूल्य दिलाना है। खासकर जो लोग पारंपरिक तरीके से व्यवसाय करते हैं, जैसे बढ़ई, लोहार, कुम्हार, पत्थर तराशने वाले, मूर्तिकार, मोची, राजमिस्त्री, और अन्य कई ऐसे पेशेवर जिनके काम का समाज में महत्वपूर्ण योगदान है, लेकिन वे वित्तीय रूप से मजबूत नहीं होते। इस योजना के तहत, इन लोगों को 5% की कम ब्याज दर पर लोन मिलता है, जिससे वे अपने व्यवसाय को विस्तार दे सकते हैं और अपने जीवनस्तर को बेहतर बना सकते हैं। इस योजना का सबसे बड़ा फायदा यह है कि इसके तहत लोन बिना किसी गारंटी के मिलेगा, यानी किसी संपत्ति या अन्य भौतिक चीजों को गिरवी रखने की जरूरत नहीं पड़ेगी। सरकार की ओर से 8% तक ब्याज अनुदान दिया जाता है, जिससे ब्याज दर बहुत ही कम हो जाती है। इसके अलावा, कारीगरों को उनकी जरूरत के मुताबिक उपकरणों के लिए प्रोत्साहन भी दिया जाता है और उनकी प्रशिक्षण भी की जाती है, ताकि वे अपने कौशल को और भी बेहतर बना सकें।
योजना के तहत लोन कैसे मिलेगा
इस योजना में लाभार्थी को लोन दो किस्तों में दिया जाता है, शुरू में 1 लाख रुपये तक की पहली किस्त और बाद में 2 लाख रुपये तक की दूसरी किस्त मिलती है। सरकार की ओर से यह लोन 5% की ब्याज दर पर दिया जाता है, जो अन्य बैंकों और वित्तीय संस्थाओं की तुलना में बहुत कम है। इस लोन का उद्देश्य कारीगरों को बिना किसी कठिनाई के अपनी जरूरतों को पूरा करने का मौका देना है, ताकि वे अपने व्यवसाय को बढ़ा सकें और आत्मनिर्भर बन सकें। इस लोन की सुविधा सभी कारीगरों और शिल्पकारों को मिलती है, जिनकी उम्र 18 से 60 साल के बीच हो और जो इस योजना के तहत रजिस्टर करते हैं। यहां तक कि इस योजना के तहत लोन के लिए आवेदन करना भी बहुत सरल है। लाभार्थी को सिर्फ पीएम विश्वकर्मा पोर्टल पर जाकर अपना रजिस्ट्रेशन करवाना होता है। इसके लिए कारीगरों को अपनी पहचान प्रमाणित करने के लिए बायोमेट्रिक-आधारित प्रमाणन का इस्तेमाल करना होता है। यह रजिस्ट्रेशन सामान्य सेवा केंद्र (CSC) के माध्यम से मुफ्त में कराया जा सकता है, जिससे इस योजना का लाभ लेने के लिए कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं लिया जाता।
कौन कर सकता है आवेदन
पीएम विश्वकर्मा योजना विशेष रूप से एमएसएमई (Micro, Small, Medium Enterprises) क्षेत्र में काम करने वाले कारीगरों और शिल्पकारों के लिए है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य उन लोगों तक पहुंचना है जो पारंपरिक तरीके से अपना व्यवसाय करते हैं और जिनकी मेहनत का समाज में महत्वपूर्ण स्थान है। इसमें निम्नलिखित पेशेवरों को शामिल किया गया है:
1. बढ़ई - जो लकड़ी से विभिन्न वस्तुएं बनाते हैं।
2. नाव निर्माता - जो नावों का निर्माण करते हैं।
3. लोहार - जो धातु से विभिन्न सामान बनाते हैं।
4. मूर्तिकार - जो पत्थर, मिट्टी या अन्य सामग्री से मूर्तियां बनाते हैं।
5. कुम्हार - जो मिट्टी के बर्तन बनाते हैं।
6. मोची - जो जूते, चप्पल, और अन्य चमड़े के सामान बनाते हैं।
7. राजमिस्त्री - जो निर्माण कार्य करते हैं।
8. पारंपरिक खिलौना निर्माता - जो बच्चों के खिलौने बनाते हैं।
9. कुम्हार, बुनकर, और अन्य शिल्पकार - जो विभिन्न पारंपरिक शिल्प के काम करते हैं।
इसके अलावा, इस योजना में नाई, धोबी, दर्जी, मछली पकड़ने का जाल निर्माण करने वाले कारीगर, और अन्य ऐसे पेशेवर भी शामिल हैं, जो अपनी कला और शिल्प के माध्यम से समाज की सेवा करते हैं। यदि आप भी इस प्रकार के कार्य में लगे हुए हैं और आत्मनिर्भर बनना चाहते हैं, तो आप इस योजना के तहत आवेदन कर सकते हैं।
पीएम विश्वकर्मा योजना के लाभ
साथियों, इस योजना के तहत आपको सिर्फ 5% की ब्याज दर पर लोन मिलता है, जो अन्य बैंकों और वित्तीय संस्थाओं से काफी कम है। इस योजना की एक सबसे खास बात यह है कि इस योजना में लोन बिना किसी संपत्ति या गारंटी के मिलता है। इसके अलावा इस योजना का लाभ प्राप्त करने वाले लाभार्थियों को उनके कौशल को बेहतर बनाने के लिए विभिन्न प्रशिक्षण कार्यक्रम प्रदान किए जाते हैं। साथ ही अपने व्यवसाय के अनुसार कारीगरों को अपने व्यवसाय को बेहतर बनाने के लिए 15,000 रुपये का टूलकिट प्रोत्साहन मिलता है। इसके अतिरिक्त योजना के तहत डिजिटल लेन-देन और विपणन सहायता भी दी जाती है, ताकि कारीगर अपनी सेवाओं को बाजार में बढ़ा सकें।
जरूरी दस्तावेज
साथियों, अगर आप भी पीएम विश्वकर्मा योजना का लाभ लेना चाहते हैं, तो आपके पास कुछ दस्तावेजों का होना जरूरी है। आवेदन के समय आपके पास आधार कार्ड, पहचान पत्र, बैंक खाता विवरण, मोबाइल नंबर, राशन कार्ड, जाति प्रमाण पत्र आदि दस्तावेज होने चाहिए। अगर आपके पास ये दस्तावेज नहीं हैं, तो आपका आवेदन रद्द किया जा सकता है।
कैसे करें आवेदन
साथियों, अगर आप पीएम विश्वकर्मा योजना के लिए आवेदन करना चाहते हैं, तो सबसे पहले आपको इसकी आधिकारिक वेबसाइट https://pmvishwakarma.gov.in पर जाकर अपना रजिस्ट्रेशन करना होगा। यहां पर आपको अपने मोबाइल नंबर और आधार कार्ड से ओटीपी सत्यापन करना होगा। इसके बाद, रजिस्ट्रेशन फॉर्म में अपनी व्यक्तिगत और व्यापार से संबंधित जानकारी भरकर उसे जमा करना होगा। रजिस्ट्रेशन के बाद, आपको एक डिजिटल आईडी और विश्वकर्मा योजना सर्टिफिकेट डाउनलोड करने का विकल्प मिलेगा। इसके बाद आप पीएम विश्वकर्मा योजना पोर्टल पर लॉगिन करके अलग-अलग योजना कंपोनेंट्स के लिए आवेदन कर सकते हैं, जिसमें आपको संबंधित दस्तावेज अपलोड करने होंगे। फिर आवेदन पत्र जमा करने के बाद, अधिकारियों द्वारा सत्यापन के बाद आपको लोन मिल सकेगा। अगर आपको ऑनलाइन आवेदन में कोई समस्या आती है, तो आप नजदीकी कॉमन सर्विस सेंटर (CSC) पर भी जा सकते हैं और वहां से पंजीकरण और आवेदन कर सकते हैं
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About the Author
मैं लवकेश कौशिक, भारतीय नौसेना से रिटायर्ड एक नौसैनिक, Mandi Market प्लेटफार्म का संस्थापक हूँ। मैं मूल रूप से हरियाणा के झज्जर जिले का निवासी हूँ। मंडी मार्केट( Mandibhavtoday.net) को मूल रूप से पाठकों को ज्वलंत मुद्दों को ठीक से समझाने और मार्केट और इसके ट्रेंड की जानकारी देने के लिए बनाया गया है। पोर्टल पर दी गई जानकारी सार्वजनिक स्रोतों से प्राप्त की गई है।