गेहूं के बाजार से आ रही है अपडेट | जाने भाव में क्या हो सकता है बदलाव
गेहूं के भाव में अप्रत्याशित तेजी
नमस्कार किसान सथियो , इस बार गेहू के भाव तो आसमान छू रहे हैं इस साल गेहूं की कीमतों को लेकर किए गए सभी अनुमान लगभग गलत साबित हो रहे हैं। गेहूं की कीमतों में लगातार तेजी देखी जा रही है। हालत यह है कि घरों में चपाती बनाने के लिए इस्तेमाल होने वाला गेहूं 3200 से 3500 रुपये प्रति क्विंटल तक बिक रहा है। वहीं, मिल क्वालिटी का गेहूं 2700 से 2900 रुपये प्रति क्विंटल के बीच बिक रहा है। हाल ही में गेहूं के समर्थन मूल्य में हुई वृद्धि का असर भी मंडियों और खुदरा बाजारों पर भी साफ दिखाई दे रहा है, जिससे गेहूं की कीमतों में और उछाल आया है।
बुबाई के बाद गेहूं की कीमतें और बढ़ने की उम्मीद
अब जबकि गेहूं की बोवनी जल्द ही शुरू होने वाली है, फसल आने में लगभग पांच से छह महीने का समय लगेगा। इस अवधि के दौरान, खासकर इस साल के अंत तक, गेहूं की कीमतों में तेजी बनी रहने की संभावना हो सकती है। कृषि विश्वविद्यालय जबलपुर द्वारा जारी किए गए वार्षिक पूर्वानुमानों में गेहूं के औसत भाव अक्टूबर 2024 में 2570 रुपये, नवंबर में 2633 रुपये, और दिसंबर में 2613 रुपये प्रति क्विंटल रहने का अनुमान था। लेकिन विपरीत स्थिति यह है कि गेहूं की कीमतों में 200 से 300 रुपये प्रति क्विंटल की बढ़त हो चुकी है, और अक्टूबर में औसत भाव 2700 रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंच गया है।
बाजार में बढ़ती मांग
दोस्तों कृषि विश्वविद्यालय जबलपुर द्वारा जारी किए गए ये भाव पूर्वानुमान पिछले 20 वर्षों के सांख्यिकी आंकड़ों पर आधारित होते हैं, लेकिन इस वर्ष यह अनुमान असफल साबित हो रहे हैं। आज के वक़्त में हल्की क्वालिटी के गेहूं और मिल क्वालिटी के गेहूं की बाजार में कमी के चलते मंडियों में गेहूं के भाव में भारी तेजी देखी जा रही है। मंडी के दलालो के अनुसार, नीलामी में गेहूं के भाव 2690 से 2730 रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंच चुके हैं। त्योहारों के मौसम के चलते आटा निर्माताओं को इस महंगे भाव पर भी गेहूं की आपूर्ति नहीं मिल पा रही है, क्योंकि सरकार ने अभी तक खुले बाजार में गेहूं की बिक्री शुरू नहीं की है।
उच्च क्वालिटी का गेहूं महंगा बिक रहा, बीज की मांग भी बढ़ी
मंडियों में उच्च क्वालिटी का लोकवन गेहूं की नीलामी में गेहू 3400 रुपये प्रति क्विंटल तक बिक रहा है। वहीं, बीज के कारोबार की शुरुआत के साथ ही कई बड़े व्यापारी बीज के व्यापार में जुट गए हैं। अब जब सोयाबीन की कटाई हो रही है, किसान गेहूं की बुबाई की तैयारी कर रहे हैं और मंडियों में उच्च क्वालिटी का बीज खोज रहे हैं। जानकारी के अनुसार, बीज के भाव 5000 रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंच चुके हैं। मंडियों में गेहूं की तेजी के बीच यह भी देखा जा रहा है कि आटा बनाने के लिए मिल क्वालिटी का गेहूं 2680 से 2716 रुपये प्रति क्विंटल बिक रहा है।
उज्जैन मंडी में रिकॉर्ड भाव
उज्जैन की कृषि उपज मंडी में पिछले सप्ताह लोकवन गेहूं के भाव में भारी उछाल देखा गया, जहां नीलामी के दौरान भाव 3601 रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंच गए। यह इस वर्ष का सर्वाधिक भाव है, इस वर्ष के गेहूं सीजन में इतना ऊंचा भाव पहले कभी नहीं देखा गया। ये अब तक के सारे रिकॉर्ड तोड़ चुका है। उज्जैन मंडी के व्यापारियों का कहना है कि इससे पहले कभी लोकवन गेहूं इतने ऊंचे भाव पर नहीं बिका था। यह स्थिति किसानों के लिए लाभकारी है, लेकिन आम उपभोक्ताओं के लिए चिंता का विषय बन गई है, क्योंकि उन्हें महंगा गेहूं खरीदना पड़ रहा है। गेहूं स्टॉक वालों की भी मौज हो गई गज्जर मिल क्वालिटी काला टुकड़ी पानी लगा गेहूं 2850 के भाव बिकने लगा
केंद्र सरकार का निर्णय और बाजार पर असर
हर साल केंद्र सरकार कुछ मात्रा में गेहूं खुले बाजार में बेचती है, लेकिन इस वर्ष केंद्र ने अपने स्टॉक से गेहूं की बिक्री नहीं की है। इसके बदले, सरकार ने सार्वजनिक वितरण प्रणाली (PDS) के तहत 35 लाख टन गेहूं का अतिरिक्त कोटा मार्च 2025 तक आवंटित करने का निर्णय लिया है, जिससे करीब 20 करोड़ लाभार्थियों को राहत मिलने की उम्मीद है। जानकारों का कहना है कि समर्थन मूल्य में 150 रुपये की बढ़ोतरी से बाजार पर कोई खास असर नहीं पड़ा है, लेकिन गेहूं की कमी के चलते कीमतों में लगातार तेजी बनी हुई है।
सरकार द्वारा गेहूं का न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) 2400 रुपये प्रति क्विंटल घोषित किए जाने के बाद किसान गेहूं उत्पादन की ओर अधिक आकर्षित हो रहे हैं। हालांकि, सरकारी कोटे से गेहूं की रिलीज की फिलहाल कोई खबर नहीं है,गेहूं की उपलब्धता कम होने के कारण इसके दाम बढ़े हुए हैं, जिसका सीधा असर उपभोक्ताओं पर पड़ रहा है।
भविष्य में भी महंगे रहेंगे गेहूं के रेट
मंडी के विश्लेषक गोविंद खंडेलवाल के अनुसार, अगले तीन साल तक गेहूं के भाव ऊंचे बने रहेंगे। उनका मानना है कि गेहूं की खपत बढ़ चुकी है, जबकि आयात नहीं हो रहा है और सरकार ने अब तक स्टॉक से गेहूं जारी नहीं किया है। आने वाले समय में गेहूं के भाव 3800 रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंचने की संभावना जताई जा रही है, जिससे बाजार में महंगाई का दौर जारी रहेगा।
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About the Author
मैं लवकेश कौशिक, भारतीय नौसेना से रिटायर्ड एक नौसैनिक, Mandi Market प्लेटफार्म का संस्थापक हूँ। मैं मूल रूप से हरियाणा के झज्जर जिले का निवासी हूँ। मंडी मार्केट( Mandibhavtoday.net) को मूल रूप से पाठकों को ज्वलंत मुद्दों को ठीक से समझाने और मार्केट और इसके ट्रेंड की जानकारी देने के लिए बनाया गया है। पोर्टल पर दी गई जानकारी सार्वजनिक स्रोतों से प्राप्त की गई है।