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आखिर कब तक ग्वार में रहे गी मंदी देखे ग्वार की तेजी मंदी रिपोर्ट

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आखिर कब तक ग्वार में रहे गी मंदी

किसान साथियो ग्वार गम में और मंदी नहीं के काम चांस है जानकारों के अनुसार औद्योगिक मांग के साथ-साथ निर्यातको की मांग कमजोर होने से फरवरी महीने में जोधपुर मंडी में ग्वार गम का भाव 500 रूपये गिरकर 12400/12500 रुपए प्रति क्विंटल रह गया है। उक्त अवधि के दौरान बिकवाली बढ़ने से जोधपुर मंडी में ग्वार का भाव भी 200 रूपये तक गिरकर 5850/5900 रूपये प्रति क्विंटल रह गया है। अहमदाबाद मंडी में ग्वार गम का भाव 500 रुपए तक टूटकर 12400/12500 रूपये प्रति क्विंटल बोले गया है। ग्वार और ग्वार गम पर सट्टेबाजी बढ़ने के कारण NCDEX में ग्वार गम फरवरी डिलीवरी में मंदी का रूख रहा। वायदे बाजार में आई गिरावट के कारण हाजिर में बाजार दब गया। ग्वार गम के मुख्य निर्यात देश यूएसए, जर्मनी, रूस, चाइना, यूके, जापान, इटली, ऑस्ट्रेलिया, नीदरलैंड इत्यादि है। एपीडा के अनुसार अप्रैल से नवंबर 2021 की अवधि के दौरान ग्वार गम का निर्यात 2,10,257 टन का हुआ था, जबकि अप्रैल से नवंबर 2022 की अवधि के दौरान इसका निर्यात लगभग 2,94,053 टंन का हो गया। जो की पिछले साल से अधिक है। WhatsApp पर भाव पाने के लिए ग्रुप join करे

ग्वार के उत्पादन में गिरावट का प्रमुख कारण

ग्वार के उत्पादन में गिरावट का प्रमुख कारण पिछले कई बर्षों से लगातार ग्वार की कीमतों में मंदी बनी रहने के कारण किसानों का रुझान ग्वार की तरफ से घट गया है। इसके कारण देश में ग्वार का उत्पादन कमजोर रहा है। लेकिन देश में चालू सीजन के दौरान राजस्थान में ग्वार की बिजाई गत वर्ष अधिक हुई है। बिजाई बढ़ने के साथ-साथ अनुकूल मौसम होने के कारण ग्वार का उत्पादन 80 लाख बोरी के लगभग होने की संभावना व्यक्त की गई थी। लेकिन वह बाद में घटकर 70 लाख बोरी के लगभग रह गयी। गुजरात, राजस्थान, हरियाणा की मंडियों में ग्वार की दैनिक आवक लगभग 20000/25000 बोरी रही। कच्चे माल की उपलब्धता को देखते हुए ग्वार गम की कीमतों में गिरावट की संभावना कम है। औद्योगिक निर्यात व मांग निकलते ही बाज़ारो में फिर से तेजी देखने को मिल सकती है। व्यापार अपने विवेक से करें. नयी सरसों में 100 रुपये की तेजी | देखें आज क्या रहेगा सरसों का रूझान

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