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सरकार ने गेहूं की तेजी रोकने के लिए उठाया यह कदम | जाने क्या होगा रेट पर असर

सरकार ने गेहूं की तेजी रोकने के लिए उठाया यह कदम | जाने क्या होगा रेट पर असर
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किसान साथियो सरकार ने हाल ही में व्यापारियों के सुझाव को स्वीकार करते हुए ओएमएसएस (Open Market Sale Scheme) के तहत एक बार में नीलाम किए जाने वाले गेहूं की मात्रा को बढ़ाकर एक लाख टन से डेढ़ लाख टन कर दिया है। यह कदम बढ़ती महंगाई को रोकने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। हालांकि, गेहूं की नई फसल आने में अभी कुछ समय है, इसलिए देश में गेहूं की मांग अभी भी अधिक है। इसीलिए, सरकार ने दिल्ली में गेहूं की बिक्री को पहले 5500 टन से बढ़ाकर अब 6500 टन कर दिया है। यह निर्णय गेहूं की बढ़ती कीमतों को नियंत्रित करने में मदद करेगा।

सरकार ने उठाया नया कदम
सरकार ने देश में गेहूं की उपलब्धता बढ़ाने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। अब भारतीय खाद्य निगम द्वारा ओएमएसएस के माध्यम से साप्ताहिक तौर पर नीलाम किए जाने वाले गेहूं की मात्रा को बढ़ाकर 1.5 लाख टन कर दिया गया है। इससे पहले यह मात्रा 1 लाख टन थी। इस बढ़ोतरी से देश के विभिन्न राज्यों में गेहूं की उपलब्धता सुनिश्चित होगी। विशेष रूप से, पंजाब, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा, गुजरात और पश्चिम बंगाल जैसे राज्यों को अधिक गेहूं आवंटित किया गया है। इस बढ़ोतरी के कारण दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में गेहूं की कीमतों में 50 रुपये प्रति क्विंटल तक की कमी आने की उम्मीद है।

15 जनवरी को खुले बाजार में कितना गेहूं उतारेगी सरकार

राज्यों के नाम  गेहूं की मात्रा एमटी में
हरियाणा  8500
पंजाब  24000
राजस्थान  8500
दिल्ली  6500
आंध्र प्रदेश 1000
असम  9000
विहार  10000
छत्तीसगढ़  2000
गुजरात  8000
हिमाचल प्रदेश  2550
झारखंड  3800
जम्मू और कश्मीर  3800
कर्नाटक  7000
केरल  2000
मध्य प्रदेश  6000
महाराष्ट्र  8000
एनईएफ क्षेत्र  500
ओडिशा  2600
तमिलनाडु  3250
तेलंगाना  2000
उत्तराखंड  4000
उत्तर प्रदेश  19000
पश्चिम बंगाल  8000
कुल  150000

बाजार में क्या हुई हल चल
आज गेहूं की कीमतें कुछ उतार-चढ़ाव का सामना कर रही हैं। दिन की शुरुआत में, मिल क्वालिटी का गेहूं 3270-3280 रुपये प्रति क्विंटल तक बिका, लेकिन बाद में बाजार में कुछ मंदी देखने को मिली। इसका मुख्य कारण यह है कि किसानों ने इस साल गेहूं की बुवाई काफी अच्छी की है और फसल भी अच्छी लग रही है। अनुमान है कि इस साल गेहूं का उत्पादन 1160 लाख मीट्रिक टन हो सकता है। हालांकि, नई फसल को बाजार में आने में अभी तीन महीने का समय लगेगा। इसीलिए, सरकार को अगले तीन महीनों तक बाजार में गेहूं की आपूर्ति बढ़ानी पड़ सकती है।

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About the Author
मैं लवकेश कौशिक, भारतीय नौसेना से रिटायर्ड एक नौसैनिक, Mandi Market प्लेटफार्म का संस्थापक हूँ। मैं मूल रूप से हरियाणा के झज्जर जिले का निवासी हूँ। मंडी मार्केट( Mandibhavtoday.net) को मूल रूप से पाठकों  को ज्वलंत मुद्दों को ठीक से समझाने और मार्केट और इसके ट्रेंड की जानकारी देने के लिए बनाया गया है। पोर्टल पर दी गई जानकारी सार्वजनिक स्रोतों से प्राप्त की गई है।