अगर कृषि लोन नहीं भर पाए हो तो बस ये एक काम कर लो | सरकार दे रही है लोन माफ़ी
किसान साथियो राजस्थान सरकार ने किसानों को बड़ी राहत देते हुए एकमुश्त समझौता योजना शुरू की है। इस योजना के तहत, वे किसान जो सहकारी बैंकों से लिए गए कृषि या गैर-कृषि लोन का समय पर भुगतान नहीं कर पाए हैं, वे निर्धारित बकाया राशि जमा करके इस योजना का लाभ उठा सकते हैं। राजस्थान के जालोर जिले में भी यह योजना लागू की गई है। इस योजना का लाभ उठाने के लिए किसानों को 31 मार्च, 2025 तक निर्धारित बकाया राशि जमा करवानी होगी। इस योजना से किसानों को लोन के बोझ से मुक्ति मिलेगी और वे फिर से कृषि गतिविधियों में सक्रिय रूप से भाग ले सकेंगे. चावल के लाइव भाव देखने के लिए लिंक पर क्लिक करे
31 मार्च 2024 तक का बकाया लोन किसानो की करना होगा जमा
जालोर केंद्रीय सहकारी बैंक ने राज्य सरकार और शीर्ष सहकारी बैंक के निर्देशानुसार एक नई ऋण समाधान योजना शुरू की है। इस योजना का उद्देश्य उन किसानों और अन्य ऋणी सदस्यों को राहत देना है जिनके ऋण 31 मार्च, 2023 तक अवधिपार या गैर-निष्पादित आस्तियों (एनपीए) की श्रेणी में आ गए हैं। इस योजना के तहत, ऋणी सदस्यों को अपने बकाया ऋण की कुल राशि का केवल 25% जमा करवाना होगा। शेष राशि पर उन्हें ऋण स्वीकृति पत्र में अंकित ब्याज दर या 8% (जो भी कम हो) की साधारण ब्याज दर देनी होगी। इस योजना के माध्यम से बैंक ऋणियों को ऋण चुकाने का एक अवसर प्रदान कर रहा है और साथ ही बैंक की वसूली प्रक्रिया को भी सुगम बना रहा है। यह योजना उन किसानों और अन्य ऋणियों के लिए एक राहत की सांस है जो आर्थिक तंगी के कारण अपने ऋणों का भुगतान करने में असमर्थ थे।
किसानो की कितनी राशि करनी पड़ेगी जमा
कृषि-अकृषि एक मुश्त समझौता योजना-2024 के तहत किसानों को अपनी बकाया राशि चुकाने का एक सुनहरा मौका दिया जा रहा है। योजना के तहत, किसान अपनी बकाया राशि का 25% जमा करके शेष राशि से छूट प्राप्त कर सकते हैं। इस योजना का लाभ उठाने के लिए किसानों को जालोर केंद्रीय सहकारी बैंक की नजदीकी शाखा में संपर्क करना होगा। यह योजना उन किसानों के लिए विशेष रूप से लाभदायक है जो बैंक ऋण के चूकदार हैं। योजना का लाभ उठाने की अंतिम तिथि 31 मार्च, 2025 निर्धारित की गई है। इस तिथि के बाद, बैंक बकाया राशि वसूलने के लिए वैधानिक कार्रवाई शुरू कर सकता है। इस योजना के माध्यम से बैंक का उद्देश्य किसानों को आर्थिक बोझ से मुक्त करना और उन्हें कृषि गतिविधियों में फिर से सक्रिय रूप से शामिल करना है। किसानों को सलाह दी जाती है कि वे इस योजना का लाभ उठाकर अपने ऋण का बोझ कम करें।
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About the Author
मैं लवकेश कौशिक, भारतीय नौसेना से रिटायर्ड एक नौसैनिक, Mandi Market प्लेटफार्म का संस्थापक हूँ। मैं मूल रूप से हरियाणा के झज्जर जिले का निवासी हूँ। मंडी मार्केट( Mandibhavtoday.net) को मूल रूप से पाठकों को ज्वलंत मुद्दों को ठीक से समझाने और मार्केट और इसके ट्रेंड की जानकारी देने के लिए बनाया गया है। पोर्टल पर दी गई जानकारी सार्वजनिक स्रोतों से प्राप्त की गई है।