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सस्ते आयातित तेलों ने गिराए सरसों के भाव, जाने आगे क्या? सरसों की आज की तेजी मंदी रिपोर्ट

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सस्ते आयातित तेलों ने गिराए सरसों के भाव जाने आगे क्या? सरसों की आज की तेजी मंदी रिपोर्ट

किसान साथियों मंगलवार की पोस्ट में हमने सरसों को लेकर आपको दो-तीन अच्छी खबरें दी थी हालांकि बाजार का रिएक्शन उन खबरों पर देखने को नहीं मिला। उम्मीद थी कि इन खबरों के आधार पर सरसों में थोड़ी बहुत तेजी दिख सकती है लेकिन ऐसा हुआ नहीं। आयातित खाद्य तेलों सस्ते होने के कारण घरेलू बाजार में मंगलवार को भी सरसों के भाव पर दबाव बना रहा।

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ताजा मार्केट अपडेट

हालांकि जयपुर में कंडीशन की सरसों के भाव 6,700 रुपये प्रति क्विंटल पर स्थिर रहे लेकिन अधिकांश हाजिर मंडियों सरसों के में  50 से 100 रुपये प्रति क्विंटल तक की मंदी देखने को मिली बीच में ख़बर आयी कि आगरा इलाके की मंडियों ने सरसों की खरीद बंद कर दी है। इसके बाद बाजारों में सेंटिमेंट बिगड़ गया और सरसों में गिरावट बढ़ गई। दोपहर बाद भरतपुर सरसों का भाव 6200 पर आ गया। सरसों की आवक भी बढ़ी हुई है जिससे और दबाव बन रहा है। विभिन्न राज्यों की मंडियों में मंगलवार को सरसों की दैनिक आवक 2.50 लाख बोरियों की हुई। बिगड़े हुए सेंटीमेंट के कारण सरसों में अभी भी मामूली और गिरावट की संभावना है बन गई है।

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अच्छी खबरों के बावजूद क्यू नहीं रुक रही गिरावट

व्यापारियों के अनुसार आयातित खाद्य तेलों की कीमतों में गिरावट आई है, जिसका असर घरेलू बाजार में सरसों तेल की कीमतों पर पड़ रहा है। इंडोनेशिया जिस तरह से पाम रहेगा। तेल उत्पादों के निर्यात को बढ़ाने के लिए लगातार कदम उठा रहा है, उसे देखते हुए विश्व बाजार में थोड़े दिन और खाद्य तेलों की कीमतों पर दबाव बना रहने का अनुमान है। रिफाइनिटिव एग्रीकल्चर रिसर्च के अनुसार मलेशिया में पाम तेल का उत्पादन जुलाई की तुलना में अगस्त में बढ़ने की उम्मीद है, हालांकि खराब मौसम और लेबर की दिक्कतों के कारण इसमें कमी भी आ सकती है। बर्सा मलेशिया बुधवार को सार्वजनिक अवकाश के कारण बंद रहेगा।

विदेशी बाजारों की अपडेट

विदेशी बाजारों की बात करें तो बर्सा मलेशिया डेरिवेटिव्स एक्सचेंज, (BMD) पर शाम के सत्र में पाम तेल के भाव नवंबर महीने के वायदा अनुबंध में 41 रिगिंट कमजोर होकर 4,133 रिगिट प्रति टन रह गए। उधर शिकागो बोर्ड में सोया की कीमतें मंगलवार को इलेक्ट्रॉनिक व्यापार में 0.89 फीसदी कमजोर रही
घरेलू बाजार की तेजी मंदी की बात करें तो ब्रांडेड कंपनियों ने सरसों के भाव ₹50 से ₹100 तक कम कर दिए सलोनी प्लांट पर सरसों के भाव ₹100 तक घटा कर ₹100 तक घटाकर ₹7050 प्रति क्विंटल पर आ गए जबकि आगरा बी पी प्लांट पर 6950 और आगरा शारदा प्लांट पर ₹6900 प्रति क्विंटल के हिसाब से खरीदी की गई।

घरेलू बाजार अपडेट

हाजिर मंडियों में सरसों की भाव की बात करें तो राजस्थान की नोहर मंडी में सरसों का भाव ₹5800 प्रति क्विंटल, रायसिंहनगर मंडी में सरसों का भाव ₹6000, संगरिया मंडी में सरसों का रेट ₹6000, अनूपगढ़ में सरसों का भाव 6031 रुपए प्रति क्विंटल, श्री गंगानगर मंडी में सरसों का रेट 6181, गोलूवाला मंडी में सरसों का भाव 6070, रावतसर में सरसों का रेट 6100, केकड़ी मंडी में सरसों का प्राइस 6525, अलवर मंडी में सरसों का भाव ₹6325, धौलपुर मंडी में सरसों का भाव 6330 और करणपुर में सरसों का रेट 5841 रुपये प्रति क्विंटल तक दर्ज किया गया।
हरियाणा की मंडियों की बात करें तो  ऐलनाबाद मंडी में सरसों का भाव 5950, सिरसा मंडी में सरसों का प्राइस 5915, आदमपुर मंडी में सरसों का टॉप भाव ₹6000 प्रति क्विंटल, जबकि सिवानी मंडी में सरसों का भाव 6150, भट्टू मंडी में सरसों का भाव 5850 रुपए प्रति क्विंटल, रेवाड़ी मंडी में सरसों का भाव 6300, कैथल मंडी में सरसों का रेट 6300 तक दर्ज किया गया

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खाद्य तेलों की अपडेट

आयातित तेलों के बहुत ज्यादा सस्ता होने के कारण घरेलू बाजार में जयपुर में सरसों तेल कच्ची घानी एवं एक्सपेलर की कीमतें में मंगलवार को दस-दस रुपये की गिरावट आने के बाद भाव क्रमशः 1350 रुपये और 1340 रुपये प्रति 10 किलो रह गए। इस दौरान सरसों खल की कीमतें भी 25 रुपये घटकर 2525 रुपये प्रति क्विंटल के स्तर पर आ गई।

सरसों की आवक

किसान साथियों मंदी के माहौल को देखते हुए किसानों ने अपनी सरसों को बेचना शुरू कर दिया है। पिछले 2 दिन से सरसों की आवक ढाई लाख के ऊपर रह रही है राज्यवार सरसों की आवक इस प्रकार से रही:-
राजस्थान आवक 100000 बोरी, मध्य प्रदेश आवक 25000 बोरी, उत्तर प्रदेश आवक 50000 बोरी, हरियाणा+ पंजाब आवक 25000 बोरी, गुजरात आवक 10000 बोरी और अन्य राज्यों में सरसों की आवक 40000 बोरी तक रही।

सितंबर में क्या रह सकता है माहौल

किसान साथियों सरसों सरसों के भाव अब फंडामेंटल पर नहीं चल रहे हैं। विदेशी बाजारों का प्रेशर इतना ज्यादा है कि सरसों के भाव का सितंबर महीने में बढ़ना मुश्किल नजर आ रहा है। सरकार की नीतियों के कारण भी मिलर्स की मांग सरसों में कमजोर है। सरकार लगातार खाद्य तेलों की कीमतों की समीक्षा कर रही है, जिस कारण मिलर्स केवल जरुरत के हिसाब से ही खरीद कर रहे हैं। आगरा में प्लांटो ने जिस प्रकार से सरसों की खरीदी बंद की है यह कोई अच्छा संकेत नहीं है। हालांकि बहुत बड़ी मंदी की उम्मीद भी कम है लेकिन जिस तेजी की हम बात कर रहे थे उसके लिए अब और इंतजार करना पड़ेगा।

हमारा किसान भाइयों और व्यापारी भाइयों से निवेदन है कि फसल बेचने और खरीदने से पहले, अपने पास की मंडी मे भाव (Anaj Mandi Rate) का पता कर ले भावों की जानकारी सार्वजानिक स्रोतों से प्राप्त की गयी है इस डाटा का उपयोग से होने वाली हानि के लिए मंडी भाव टुडे किसी भी तरह से जिम्मेदार नहीं है।