आम बजट 2025: मनरेगा के बजट में हो सकती है बढ़ोतरी, ग्रामीण क्षेत्र को मिल सकता है फायदा
आम बजट 2025: मनरेगा के बजट में हो सकती है बढ़ोतरी, ग्रामीण क्षेत्र को मिल सकता है फायदा
साथियों जैसा कि आपको पता है, फरवरी का महीना शुरू होते ही केंद्र सरकार बजट पेश करने की तैयारी कर रही है, हर साल की तरह। अबकी बार भी किसानों और आम आदमी को केंद्र सरकार के आम बजट 2025 से काफी उम्मीदें हैं। लोगों को विश्वास है कि अबकी बार इस बजट में कृषि और ग्रामीण विकास जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों के लिए विशेष घोषणाएं हो सकती हैं, जो लाखों लोगों की जिंदगी में बदलाव ला सकती हैं। इस बजट के दौरान खासकर, मनरेगा (MGNREGA) योजना का बजट बढ़ाने की उम्मीद जताई जा रही है, जिससे ग्रामीण क्षेत्र में रोजगार के अवसर बढ़ सकते हैं और किसानों और मजदूरों को फायदा हो सकता है। आपको बता दें कि यह बजट वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा 1 फरवरी 2025 को पेश किया जाएगा। यह उनका आठवां बजट होगा, और इस बार यह देखा जाएगा कि सरकार कृषि, ग्रामीण विकास, और विशेषकर मनरेगा जैसी योजनाओं में कितना फोकस कर रही है। क्योंकि इन योजनाओं का सीधे तौर पर असर किसानों, मजदूरों, और ग्रामीण क्षेत्रों के विकास पर पड़ता है। इसके अलावा उम्मीद की जा रही है कि इस बार का बजट पिछले सालों से थोड़ा अलग हो सकता है क्योंकि सरकार का ध्यान अब डिजिटल और सतत खेती (sustainable farming) की ओर भी बढ़ चुका है। तो आइए जानते हैं, इस बजट में हमें क्या खास देखने को मिल सकता है। और इस बजट से ग्रामीण क्षेत्र और किसानों को कितना फायदा मिल सकता है, इन सब बातों को विस्तार से समझने की कोशिश करते हैं इस रिपोर्ट के माध्यम से।
मनरेगा के बजट में बढ़ोतरी
दोस्तों, मनरेगा योजना यानी महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम, एक ऐसी योजना है जिसका उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार के अवसर पैदा करना है। इसके तहत, हर परिवार को 100 दिन तक रोजगार प्रदान किया जाता है, जिससे ग्रामीण मजदूरों को अपने घर के पास ही काम मिल सके। इस योजना में सड़क निर्माण, तालाब खुदाई, पुल निर्माण, और अन्य ऐसे कार्य शामिल होते हैं, जो ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी सुविधाओं को बेहतर बनाते हैं। साथियों, पिछले कुछ वर्षों में मनरेगा को लेकर सरकार ने कई सकारात्मक कदम उठाए हैं, जिसके कारण ग्रामीण क्षेत्र के लोगों और किसानों को इस बार भी बजट में मनरेगा के लिए धनराशि में बढ़ोतरी को लेकर केंद्र सरकार से काफी उम्मीद है। इसके अलावा पहले से चल रही परियोजनाओं के साथ-साथ नए रोजगार अवसर भी खुल सकते हैं। इसके साथ ही, लोगों को उम्मीद है कि महंगाई को ध्यान में रखते हुए, मजदूरी की दर को बढ़ाने की भी संभावना जताई जा रही है, ताकि मजदूरों को उनके काम का सही मूल्य मिल सके। आपको बता दें कि यदि मनरेगा के बजट में बढ़ोतरी होती है, तो इसका सीधा फायदा उन लोगों को मिलेगा जो किसी कारणवश शहरों में रोजगार नहीं पा सकते और उन्हें अपने गांव में ही काम मिल सकता है। खासकर महिलाओं और कमजोर वर्ग के लोग इस योजना का सबसे अधिक फायदा उठाते हैं, क्योंकि इसमें जॉब कार्ड की व्यवस्था है, जिससे वे अपनी पहचान साबित करके रोजगार पा सकते हैं।
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कृषि बजट में वृद्धि
साथियों, कृषि भारतीय अर्थव्यवस्था का अहम हिस्सा है, और किसानों की दशा सुधारने के लिए बजट में कृषि क्षेत्र पर ध्यान दिया जाता है। पिछली बार केंद्र सरकार ने अपने बजट में किसानों के लिए कुछ घोषणाएं की थीं, इसलिए किसानों को इस बार के बजट में, कृषि और उससे जुड़े क्षेत्रों के लिए बजट बढ़ाने की काफी उम्मीद है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, सरकार इस बार 1.60 लाख करोड़ रुपए तक का बजट कृषि के लिए आवंटित कर सकती है, जबकि पिछले साल ये बजट 1.52 लाख करोड़ रुपए था। अगर सरकार कृषि बजट में यह बढ़ोतरी करती है, तो यह किसानों के लिए काफी फायदेमंद साबित हो सकता है क्योंकि इस वृद्धि के पीछे सरकार की यह सोच हो सकती है कि किसानों को नई तकनीकी (technology) से जुड़ी सहायता और प्राकृतिक खेती (natural farming) तथा ऑर्गेनिक खेती (organic farming) को बढ़ावा देना जरूरी है। इसके अलावा इस बार सरकार किसानों को विकसित कृषि उपकरण, जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए उपयुक्त तकनीक, और उनके फसल सुरक्षा के लिए बेहतर तरीके मुहैया करवा सकती है। केंद्र सरकार द्वारा कृषि के लिए अधिक बजट का मतलब यह हो सकता है कि किसानों को उनकी फसलों के लिए बेहतर एमएसपी (Minimum Support Price) मिले, और इसके साथ ही कृषि बाजारों में सुधार की दिशा में कदम उठाए जा सकते हैं। इससे किसानों को अपनी फसल का सही मूल्य मिल सकेगा और उनका आर्थिक विकास भी हो सकेगा।
ग्रामीण विकास पर जोर
साथियों, ग्रामीण विकास एक ऐसा क्षेत्र है, जिसमें केंद्र सरकार हमेशा से ही अपना ध्यान केंद्रित करती रही है। और इस बार के बजट में भी उम्मीद जताई जा रही है कि ग्रामीण विकास के लिए सरकार द्वारा आवंटित बजट में बढ़ोतरी की जा सकती है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, 2.70 लाख करोड़ रुपए तक का बजट ग्रामीण विकास के लिए आवंटित किया जा सकता है, जो कि पिछले साल के बजट से थोड़ा अधिक होगा। अनुमान लगाया जा रहा है कि यह बढ़ोतरी मुख्य रूप से ग्रामीण इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास, सड़कों, जल आपूर्ति, स्वास्थ्य सुविधाओं, और शिक्षा के क्षेत्र में हो सकती है। इसके अलावा इस बजट के जरिए, सरकार ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों की आर्थिक स्थिति को सुधारने के लिए योजना बना सकती है। इसके तहत रोजगार सृजन, स्वच्छता और आवास जैसी योजनाओं में भी वृद्धि हो सकती है।
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एमएसपी की खामियां
दोस्तों, केंद्रीय बजट 2025 में केंद्र सरकार किसानों से जुड़ी एमएसपी (Minimum Support Price) योजना में भी कुछ सुधार कर सकती है। फसलों के एमएसपी को लेकर किसानों में हमेशा असंतोष देखा गया है और इसी कारण किसानों की लंबे समय से मांग रही है कि उन्हें उनकी फसल का सही मूल्य मिले, और एमएसपी के तहत मिल रहे दाम उनके खर्चों को पूरा करने के लिए पर्याप्त हों। इसलिए अब के बारे उम्मीद की जा रही है कि इस बजट में, सरकार कृषि बाजारों और ग्राम हाट जैसे विकल्पों के माध्यम से किसानों को सही मूल्य दिलाने के लिए कदम उठा सकती है। इसके साथ ही, सरकार का उद्देश्य किसानों को मूल्य निर्धारण में पारदर्शिता लाना और उनके लिए फसल बीमा और कृषि ऋण जैसी योजनाओं को और अधिक सुलभ बनाना हो सकता है। इससे किसानों को उनकी फसल का सही मूल्य मिलेगा और वे कम मूल्य पर अपनी फसल नहीं बेचने के लिए मजबूर नहीं होंगे।
सड़कों का बजट
दोस्तों, बजट 2025 में अगर मनरेगा के तहत बढ़ोतरी होती है, तो इसका फायदा ग्रामीण क्षेत्र में सड़कों के निर्माण और अन्य इंफ्रास्ट्रक्चर परियोजनाओं में भी हो सकता है। सरकार मनरेगा के जरिए सड़क निर्माण योजनाओं के बजट में भी बढ़ोतरी कर सकती है, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में सड़क परिवहन बेहतर होगा और लोगों की जिंदगी में सुधार आएगा। साथ ही, सरकार स्मार्ट सिटी योजनाओं के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी सुविधाओं को सुधारने के लिए भी कुछ घोषणाएं कर सकती है, ताकि शहरों के मुकाबले गांवों में भी आधुनिक सुविधाएं मिल सकें। कुल मिलाकर लोगों को इस बार सरकार से केंद्रीय बजट में ग्रामीण क्षेत्रों और किसानों के बजट को लेकर काफी उत्साह दिखाई दे रहा है। किसान भाइयों को काफी उम्मीद है कि इस बार का बजट किसानों के लिए काफी सकारात्मक होगा।
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About the Author
मैं लवकेश कौशिक, भारतीय नौसेना से रिटायर्ड एक नौसैनिक, Mandi Market प्लेटफार्म का संस्थापक हूँ। मैं मूल रूप से हरियाणा के झज्जर जिले का निवासी हूँ। मंडी मार्केट( Mandibhavtoday.net) को मूल रूप से पाठकों को ज्वलंत मुद्दों को ठीक से समझाने और मार्केट और इसके ट्रेंड की जानकारी देने के लिए बनाया गया है। पोर्टल पर दी गई जानकारी सार्वजनिक स्रोतों से प्राप्त की गई है।