आज प्याज के भाव चले नीचे की तरफ | जाने क्या है गिरावट की वज़ह

 

किसान साथियों स्वागत है आपका  मंडी भाव टुडे रिपोर्ट पर आज  27 सितंबर 2024 को दिल्ली की आजादपुर मंडी में प्याज के बाजार की स्थिति कैसी रही। मंडी में प्याज का माहौल और बाजार की स्थिति , प्याज की आवक, भाव में गिरावट और इसके पीछे के कारणों पर चर्चा करेगे ।

आजादपुर मंडी में प्याज की आवक

आज मंडी में 66 ताजा गाड़ियां पहुंची हैं, जिनमें 18 गाड़ियां राजस्थान से, 21 मध्य प्रदेश से, 12 नासिक से, और अन्य स्थानों से भी प्याज की आवक रही। कुल मिलाकर, लगभग 146 से 150 गाड़ियां मंडी में उपलब्ध हैं, जिससे स्पष्ट होता है कि आवक सामान्य रही है। नेफेड और एनसीसीएफ के माल की बढ़ती आवक ने मंडी में प्याज की संख्या को बढ़ा दिया है, जिससे बाजार में थोड़ी गिरावट आई है।

दिल्ली की आजादपुर मंडी में प्याज के बाजार में पिछले तीन-चार दिनों से भाव में लगातार गिरावट देखने को मिल रही है। इस गिरावट का मुख्य कारण मंडी में प्याज की बढ़ी हुई आवक और नेफेड (राष्ट्रीय कृषि सहकारी विपणन संघ) और एनसीसीएफ (राष्ट्रीय उपभोक्ता सहकारी संघ) द्वारा बाजार में प्याज की अतिरिक्त आपूर्ति माना जा रहा है। इन दोनों संस्थानों का लक्ष्य प्याज के भाव को नियंत्रित करना और उपभोक्ताओं को सस्ती दरों पर प्याज उपलब्ध करवाना है। हालांकि, प्याज के बाजार में भाव 50 रुपये प्रति किलो तक पहुंच गया है, लेकिन नेफेड और एनसीसीएफ द्वारा बड़े पैमाने पर माल की आपूर्ति से बाजार में भाव नियंत्रित किया जा रहा

इस समय मंडी में प्याज की आमद अच्छी है, लेकिन विशेषकर कर्नाटक की बारिशों के कारण वहां से प्याज की आवक सीमित हो गई है। सामान्यतः कर्नाटक से लगभग 20-25 गाड़ियां प्याज की आती थीं, लेकिन अब सिर्फ 6-8 गाड़ियां आ रही हैं। हालांकि, इस कमी के बावजूद व्यापारी भाइयों का मानना है कि साउथ से प्याज की कमी के कारण कोई बड़ी चिंता की बात नहीं है, क्योंकि नेफेड और एनसीसीएफ द्वारा की जा रही आपूर्ति से मार्केट में स्थिरता बनी हुई है।

इसके अलावा, मध्य प्रदेश से प्याज की आवक में कमी के अनुमान भी लगाए जा रहे हैं। एमपी में फसल की कमी का आकलन 20% से 30% तक बताया जा रहा है, लेकिन इस कमी के बावजूद मंडी में एमपी से प्याज की आपूर्ति हो रही है। हालांकि, एमपी से आ रहा प्याज की गुणवत्ता में थोड़ी कमी बताई जा रही है, जिससे उसकी मांग कुछ कम हो सकती है। वहीं, महाराष्ट्र और पुणे से अच्छी क्वालिटी का प्याज आ रहा है, जो अधिक टिकाऊ और मजबूत माना जाता है।

पुराने प्याज की मांग अभी भी बनी हुई है, खासकर ढाबों, होटलों और रेस्टोरेंट में, क्योंकि नया प्याज जल्दी खराब हो जाता है। इसलिए, भले ही नया प्याज बाजार में आने लगे, लेकिन पुराने प्याज की अपनी जगह बनी रहेगी।

आजादपुर मंडी में प्याज के भाव

भाव की स्थिति पर बात करें, तो पिछले कुछ दिनों में भाव में काफी उतार-चढ़ाव देखने को मिला है। प्याज के भाव में जहां कुछ दिन पहले 2000-2100 रुपये प्रति 40 किलो तक भाव थे, वहीं अब यह 1800 से 1900 रुपये  प्रति मन या उससे भी कम तक गिर गया है। यह गिरावट मुख्य रूप से नेफेड और एनसीसीएफ के अतिरिक्त माल की आपूर्ति के कारण हुई है, जो बाजार में ज्यादा लोड डाल रही हैं। अगले कुछ दिनों में प्याज के बाजार में और गिरावट आ सकती है, 

इस समय मंडी में पुणे और एमपी के प्याज की क्वालिटी में अंतर देखा जा रहा है। पुणे का प्याज बेहतर क्वालिटी का है, जिसकी रेंज 1800 से 1900 रुपये प्रति 40 किलो के बीच है। यह प्याज आकार में बड़ा और मजबूत है, जो इसे बाजार में अधिक टिकाऊ बनाता है। इसके विपरीत, एमपी का प्याज मीडियम साइज का है और क्वालिटी में थोड़ा हल्का है, इसलिए इसका भाव थोड़ा कम है। रहा है

पुणे के प्याज की तुलना में एमपी का प्याज बहुत हल्का है एमपी का प्याज 1600 से 1700 रुपये की रेंज में बिक रहा है।

पुणे के प्याज का भाव 1800  से 1900 रूपये प्रति मन 40 किलो के भाव में बिक रहा है कोई कोई एक्स्ट्रा सुपर लॉट 1950 में बिक जाता है

वहीं, राजस्थान का प्याज भी लगभग इसी रेंज में 1700 से 1800 रूपये मन चल रहा है।

कर्नाटक से आने वाला नया प्याज भी लगभग 1800 रुपये प्रति 40 किलो के भाव में बिक रहा है, लेकिन उसकी गुणवत्ता और टिकाऊपन उतनी अच्छी नहीं है जितनी पुणे और नासिक के प्याज की है।

इसके अलावा, बीच-बीच में अफगानिस्तान से प्याज की आवक भी हो रही है, लेकिन इसका असर मुख्य रूप से पंजाब के बाजारों पर ही हो रहा है। दिल्ली के बाजारों पर इसका कोई विशेष प्रभाव नहीं देखा जा रहा है, क्योंकि अफगानिस्तान का प्याज अमृतसर तक ही सीमित है और वहां से आगे नहीं आ रहा।

भाव की शुरुआत 1800 से लेकर 1950 रुपये तक है, जहां एक्स्ट्रा सुपर क्वालिटी का प्याज 1950 रुपये में बिक रहा है, जबकि सामान्य प्याज 1800-1900 रुपये की रेंज में है। नया प्याज भी इस रेंज में ही बिक रहा है।

सुझाव:
जो लोग प्याज का स्टॉक कर रहे हैं, उनके लिए यह सुझाव है कि वे अपने स्टॉक को धीरे-धीरे निकालें। बहुत लंबी तेजी की उम्मीद में स्टॉक रोके रखने की बजाय, मौजूदा बाजार के भाव को देखते हुए समय-समय पर प्याज निकालते रहें। मौजूदा बाजार की स्थिति स्थिरता दिखा रही है, और इस समय स्टॉक निकालना बेहतर विकल्प हो सकता है

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About the Author
मैं लवकेश कौशिक, भारतीय नौसेना से रिटायर्ड एक नौसैनिक, Mandi Market प्लेटफार्म का संस्थापक हूँ। मैं मूल रूप से हरियाणा के झज्जर जिले का निवासी हूँ। मंडी मार्केट( Mandibhavtoday.net) को मूल रूप से पाठकों  को ज्वलंत मुद्दों को ठीक से समझाने और मार्केट और इसके ट्रेंड की जानकारी देने के लिए बनाया गया है। पोर्टल पर दी गई जानकारी सार्वजनिक स्रोतों से प्राप्त की गई है।