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दो महीने में 9 गुना बढ़े बासमती कम्पनी के शेयर | जाने क्या है वजह | Basmati Report

दो महीने में 9 गुना बढ़े बासमती कम्पनी के शेयर | जाने क्या है वजह | Basmati Report किसान साथियों धान की खेती करने से किसान का भला हो या ना हो लेकिन धान से चावल बनाकर बेचने वाली कंपनियों (Basmati Export Company) की चांदी हो रही है। आपको जानकर आश्चर्य होगा कि बासमती चावल
दो महीने में 9 गुना बढ़े बासमती कम्पनी के शेयर | जाने क्या है वजह | Basmati Report

दो महीने में 9 गुना बढ़े बासमती कम्पनी के शेयर | जाने क्या है वजह | Basmati Report

किसान साथियों धान की खेती करने से किसान का भला हो या ना हो लेकिन धान से चावल बनाकर बेचने वाली कंपनियों (Basmati Export  Company) की चांदी हो रही है। आपको जानकर आश्चर्य होगा कि बासमती चावल की एक बड़ी कम्पनी इन दिनों दिन दोगुनी रात चौगुनी उन्नति कर रही है। जी हाँ हम बात कर रहे हैं कोहिनूर फूड्स (Kohinoor Foods) की। कम्पनी के शेयरों की वैल्यू 10 हफ्तों में लगभग नौ गुना हो चुकी है। आपकी जानकारी के लिए बता दें कि कोहिनूर बासमती चावल सहित अन्य खाद्य उत्पादों का भी बिजनेस करती है।

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हरियाणा स्थित कोहिनूर फूड्स के शेयर 11 महीने के लंबे प्रतिबंध के बाद ट्रेडिंग के लिए उपलब्ध हुए हैं, पिछले दो महीनों से कोहिनूर फ़ूडस के शेयर लगातार उपरी सर्किट लग रहा है। इस अवधि के दौरान इस बासमती चावल स्टॉक ने निवेशकों को 2 महीने में 9 गुना रिटर्न दिया है, अब सोचने वाली बात ये है कि क्या आज तक किसान को भी कभी इस तरह का फ़ायदा मिला है। इतिहास को खंगाल कर देखें तो पता चलता है कि ग्वार की फसल ने किसानों को एक बार ऐसा फायदा दिया था जब ग्वार के भाव 30000 रुपये प्रति क्विंटल को पार कर गए थे।

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लेकिन विडंबना की बात यह है कि उस समय भी इसका ज्यादातर फायदा किसान की बजाय स्टोकिस्टों ने ही उठाया था। क्योंकि किसान के हाथ इतना बड़ा फायदा लगना बहुत मुश्किल है। किसान अपनी फसल को लंबे समय तक होल्ड नहीं कर पाता। उसको अपने खर्चे फसल बेचकर ही चलाने पड़ते हैं। उसके बाद से कुछ किसान समझदार भी हुए है और ऊंचे भाव की उम्मीद में आज भी उन्होंने अपनी ग्वार की फसल को होल्ड किया हुआ है लेकिन किस्मत इतनी खराब है कि ग्वार का भाव 6000 रुपये प्रति क्विंटल भी नहीं पहुंच पा रहा है। ऐसे में मंडी भाव टुडे ने कोशिश है कि सही समय पर सही जानकारी देकर आपको अच्छे भाव दिलवा सकें

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तो बात कोहिनूर बासमती के स्टॉक (Share Price) की करते हैं यह स्टॉक 06 अप्रैल 2022 को 8 रुपये से भी नीचे चल रहा था जो कि दो महीने में ही बढ़कर 72 रुपये का हो गया है। दो महीने में निवेशकों (Investers) के पैसे 9 गुना हो गए है। शेयर के भाव में तेजी इतनी तेज थी कि BSE(Bombay Stock Exchange) को कम्पनी से स्पष्टीकरण मांगना पड़ा। हालांकि कम्पनी की मैनेजमेंट ने इसमे कोई भी रोल होने से मना कर दिया है
कंपनी ने यह कहते हुए जवाब दिया कि उसे स्टॉक में उछाल के पीछे किसी महत्वपूर्ण कारण की जानकारी नहीं है। 19 अप्रैल की फाइलिंग में कहा गया है, “कंपनी का प्रबंधन शेयरों की कीमत (Share Price) में उतार-चढ़ाव से किसी भी तरह से जुड़ा नहीं है।” कोहिनूर(kohinoor Basmati)ने दोहराया कि उसने हमेशा नियामकों का पालन किया है और आगे भी करता रहेगा।

जानकारों का कहना है कि पिछले कुछ महीनों में आयी वैश्विक आपूर्ति में कमी ने घरेलू चावल निर्यातकों (Basmati Export) की संभावनाओं को उज्ज्वल किया है। आपने देखा भी होगा कि अप्रैल से बाद से ही बासमती चावल(Basmati Rice) के भाव में एकाएक उछाल आया है और बासमती 1509 सेला का भाव बासमती 1509 स्टीम से भी उपर चला गया है। फ़िलहाल 1509 सेला का भाव 8100 रूपए प्रति क्विंटल चल रहा है जबकि स्टीम 7600 के आसपास कारोबार कर रहा है। इसकी मुख्य वजह ईरान से 2.5 लाख टन के आर्डर का मिलना बताया जा रहा है।

नया बासमती 1509 आना शुरू हो गया है और इसका भाव 3500 से 3700 रूपए प्रति क्विंटल चल रहा है। पुराना 1509 लगभग खत्म हो चूका है जिसके भाव 4200 से 4300 रूपए प्रति क्विंटल तक बोले जा रहे है।

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